19 अगस्त, सोमवार श्रावण सोमवार व्रत, रक्षाबंधनः
उत्तर भारत के पंचांग अनुसार, इस दिन श्रावण का पांचवां और अंतिम सोमवार है। इस दिन श्रावणी उपाकर्म भी होगा। इस दिन रक्षाबंधन भी है। दोपहर 1.24 वजे तक भद्रा है। इसके वाद ही रक्षाबंधन का मुहूर्त है। इस दिन देवी लक्ष्मी ने राजा वलि को राखी वांधकर अपने पति भगवान विष्णु भगवान को मुक्त कराया था। इस दिन पंचक रात में 8.13 वजे लग रहा है।
21 अगस्त, बुधवार अशून्यशयन व्रतः
भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष द्वितीया तिथि को अशून्यशयन व्रत किया जाएगा। इस दिन कजरी के निमित्त रात्रि जागरण भी होता है। सौभाग्यवती महिलाएं अपने सुहाग को चिरायु वनाने के लिए आशीर्वाद मांगती है।
22 अगस्त, गुरुवार संकष्टी बहुला श्री गणेश चतुर्थी व्रतः
भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की चतुर्थी का वहुत वड़ा महत्व है। संकष्टी श्री गणेश चतुर्थी व्रत माना जाएगा। रात में चंद्रोदय 8.20 बजे होगा। विशालाक्षी यात्रा भी होगी। इस दिन कजरी तीज मनाई जाएगी।
23 अगस्त, शुक्रवार पंचक समाप्तिः
हिंदू पंचांग के अनुसार, रात 1.17 वजे पंचक समाप्त हो जाएगा।
24 अगस्त, शनिवार रक्षा पंचमी व्रतः
भाद्रपद मास की कृष्ण पक्ष की पंचमी तिथि को रक्षा पंचमी व्रत माना जाता है। इस रक्षा पंचमी व्रत का विशेष महत्व उड़ीसा में है।
25 अगस्त, रविवार ललही छठः
भाद्रपद मास के कृष्ण पक्ष की षष्ठी तिथि को ही वलराम का जन्म माना जाता है। इसलिए संतान युक्त महिलाएं इस व्रत को संतान को चिरायु वनाने के लिए करती हैं।
– आचार्य बाल कृष्ण मिश्र